• दुनियाभर के शेयर बाजारों में हाहाकार

    खराब वैश्विक संकेतों के चलते भारतीय शेयर बाजार सोमवार को बड़ी गिरावट के साथ खुला. बाजार में चौतरफा गिरावट देखने को मिल रही है

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    खराब वैश्विक संकेतों के चलते भारतीय शेयर बाजार सोमवार को बड़ी गिरावट के साथ खुला. बाजार में चौतरफा गिरावट देखने को मिल रही है.

    अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के टैरिफ ने दुनियाभर में अराजकता फैला दी है. दुनियाभर में अरबों डॉलर का नुकसान हुआ है. हफ्ते के पहले कारोबारी दिन, भारतीय शेयर बाजार अपने 10 महीने के निचले स्तर पर पहुंच गए. सेंसेक्स करीब 4,000 अंक नीचे खुला, जो पिछले कारोबारी सत्र से 3.5 प्रतिशत से अधिक नीचे है, जबकि निफ्टी 1,000 अंक से अधिक नीचे गिरा. भारतीय बाजारों में इस गिरावट की वजह अमेरिका द्वारा लगाए गए रेसिप्रोकल टैरिफ को माना जा रहा है, जिससे पूरी दुनिया में ट्रेड वॉर का खतरा बढ़ गया है.

    सोमवार को भारतीय शेयर बाजार में लार्ज कैप के साथ-साथ मिडकैप और स्मॉलकैप में भी बड़ी गिरावट देखने को मिली. निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स 2,045 अंक या 4.07 प्रतिशत की गिरावट के साथ 48,562 और निफ्टी स्मॉलकैप 100 इंडेक्स 820 अंक या 5.24 प्रतिशत की गिरावट के साथ 14,855 पर था.

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    एशियाई बाजारों में भी भारी गिरावट

    बाजार विशेषज्ञ अजय बग्गा ने एक बिजनेस चैनल से कहा, "भारत पर घरेलू कारणों से नहीं, बल्कि वैश्विक कारणों से असर पड़ेगा. भारत की घरेलू अर्थव्यवस्था को आने वाली इस वैश्विक आर्थिक मंदी से बचाने के लिए राजकोषीय, मौद्रिक और सुधार पैकेज की आवश्यकता होगी."

    नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के सभी इंडेक्स लाल निशान में कारोबार करते दिखे. ऑटो, आईटी, एफएमसीजी, मेटल्स, रियल्टी, मीडिया और एनर्जी में सबसे अधिक गिरावट है.

    शुरुआती कारोबार में सेंसेक्स के सभी 30 शेयर लाल निशान में थे. टाटा स्टील, टाटा मोटर्स, इंफोसिस, टेक महिंद्रा, एलएंडटी, एचसीएल टेक, टीसीएस, रिलायंस इंडस्ट्रीज, एनटीपीसी, एक्सिस बैंक, महिंद्रा एंड महिंद्रा, कोटक महिंद्रा बैंक और इंडसइंड बैंक के शेयरों में भारी गिरावट रही.

    अधिकांश एशियाई बाजारों में बिकवाली देखी गई. टोक्यो, शंघाई, बैंकॉक, सियोल और हांगकांग में 11 प्रतिशत तक की गिरावट दर्ज की गई है. चीन में, जहां कम्युनिस्ट सरकार ने अमेरिका के खिलाफ 34 प्रतिशत टैरिफ लगाकर जवाबी कार्रवाई की है, वहां शेयरों में 4 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई है जबकि हांगकांग में हैंग सेंग इंडेक्स में 10 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई है. जापान में निक्केई शुरुआती कारोबार में 8 प्रतिशत से अधिक गिरने के बाद कम से कम 6.5 फीसदी नीचे रहा. ताइवान का मुख्य सूचकांक लगभग 10 फीसदी और सिंगापुर का 8 प्रतिशत से अधिक गिर गया.

    ट्रंप के टैरिफ से हिल गए बाजार

    रेसिप्रोकल टैरिफ के कारण शुक्रवार को अमेरिकी बाजारों में भारी बिकवाली देखी गई थी. डाओ 5.50 प्रतिशत और टेक्नोलॉजी इंडेक्स नैस्डैक लगभग 5.82 प्रतिशत की गिरावट के साथ बंद हुआ.

    वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच तेल की कीमतों में तेज गिरावट आई है. ब्रेंट क्रूड 2.67 प्रतिशत गिरकर 63.82 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया, जबकि वेस्ट टेक्सस इंटरमीडिएट (डब्ल्यूटीआई) क्रूड 2.69 प्रतिशत गिरकर 60.31 डॉलर प्रति बैरल पर है.

    अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व के चेयरमैन जेरोम पॉवेल ने शुक्रवार को कहा था कि ट्रंप के नए टैरिफ "उम्मीद से ज्यादा बड़े हैं. इसका मुद्रास्फीति और ग्रोथ पर आर्थिक प्रभाव पड़ सकता है. इससे अमेरिकी अर्थव्यवस्था पर अनिश्चित दृष्टिकोण का संकेत मिलता है."

     

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